शनिवार, अक्तूबर 21, 2006

गरीब की दिवाली

आये लक्ष्मीजी
हेलीपेड में बैठ
करो दर्शन


लेकर आया
कोई कार लक्जरी
वो भीख मांग

करे भोजन,
चढ़ाये प्रसाद या
छोड़े फटाखे?

तुम्ही बताओ
मनाये भूखे पेट
कैसे दीवाली?

नहीं रहेगा
फिर भी अंधियारा
मन आसक्त

दो बूँद तेल
पर आपार श्रृद्धा
दीया जलेगा

माँ लक्ष्मी और प्रभू श्री गणेश के चरणों में "कविराज" का शत्-शत् नमन!!!

आप सबको दीपावली की ढ़ेरों शुभकामनाएँ!!!

सोमवार, अक्तूबर 09, 2006

ब्लागर हाइकु :)

समीर नहीं
अब बदलो नाम
कुंडली किंग


बैंगाणी बंधु
या ब्लागर फैमिली
कहो क्या कहें

व्यंजन सुर
शब्द भाव तड़का
रत्ना रसोई

दिखते नहीं
है कहाँ आजकल
खोजी प्रतिक

लेने दो श्वांस
फुरसतिया भाई
फुरसत से

अमितजी क्यूँ
कोमल दिल फिर
ड्रेगन रूप

जितु चौधरी
बदल गये नाम
जितु जुगाड़ी

कहाँ व्यस्त हो???
कुछ तो बतलाओ
भारतवासी

कम है पढ़े
पर ज्ञानी बहुत
सागरचंद

रुकिये जरा
कुछ कहना चाहे
रचना दीदी

विनय भय्या
सुनो करूण गाथा
सुधारो भूलें